(a) स्रोत वोल्टता के
(b) (स्रोत वोल्टता) 2 के
(c) स्त्रोत वोल्टता/ 2 के
(d) √स्रोत वोल्टता के
22. स्लिप-रिंग प्रेरण मोटर की रोटर कुण्डलन को प्रतिरोधक से जोड़ने का उद्देश्य है
(a) स्टार्टिंग धारा को सीमित करना
(b) स्टार्टिंग धारा को बढ़ाना
(c) स्टार्टिंग धारा को सीमित करके स्टार्टिंग घुमाव बल को बढ़ाना
(d) उपर्युक्त में से कोई नहीं
25. एक चार ध्रुवीय ए०सी० मशीन में कुछ विद्युतीय डिग्री, निम्नलिखित के बराबर होंगे
(a) 180°
(b) 360°
(c) 720°
(d) 1080°
26. 3-कला मोटरों पर एक कलायन (सिंगल फेजिंग) का क्या प्रभाव होगा यदि वह मोटर के प्रवर्तन (स्टार्टिंग) के समय घटित होता है?
(a) प्रवर्तन (स्टार्टिंग) से चूकेगी या स्तम्भित (रुकी रहेगी)
(b) धीमी चाल पर चलेगी
(c) सामान्य रूप से चलेगी परन्तु भार नहीं उठाएगी
(d) पूर्ण चाल के लिए समय लगेगा
27. 3-कला, 5HP, 415 V, 50 Hz पिंजरी प्रेरण मोटर से ली जाने वाली धारा को मॉनीटर करने के लिए आपको अमीटर का संयोजन करना है जो DOL प्रवर्तक (स्टार्टर) से संयोजित है। मोटर परिपथ में संयोजन के लिए उपयुक्त अमीटर परिसर (रेंज) …है।
(a) 0-30 A (विस्तारित मापक्रम)
(b) 0-15A (रैखिक मापक्रम)
(c) 0-10A (अरैखिक मापक्रम)
(d) 0-5A (विस्तारित मापक्रम)
29. प्रवर्तक सम्पर्क (स्टार्टर कॉन्टैक्ट्स) या तो उनकी स्थिति के लिए या उनके प्रकार्य के लिए सूचित किये जाते हैं। ऐसी स्थिति में सामान्य संवृत्त (NC) सम्पर्क का तात्पर्य है कि वे
(a) रिले की सभी अवस्थाओं में संवृत्त स्थिति में हैं
(b) विवृत्त हैं जब रिले कुण्डली उत्तेजित नहीं है
(c) विवृत्त हैं जब रिले कुण्डली उत्तेजित है
(d) संवृत्त हैं जब रिले कुण्डली उत्तेजित है
30. नियन्त्रण परिपथ में विभिन्न प्रकार के रिले प्रयोग किये जाते हैं। ये नियन्त्रण की आवश्यकताओं के अनुरूप पूर्व-निर्धारित अवस्थाओं में प्रचालित होते हैं। कुछ रिले, विलम्बित समय पर प्रचालित होने में सक्षम होते हैं। निम्नलिखित में से कौन-सी समय-विलम्ब रिले के रूप में प्रयुक्त होती है?
(a) रीड रिले
(b) विद्युत-चुम्बकीय रिले
(c) क्लैपर प्रकार की आर्मेचर रिले
(d) तापीय रिले
31. प्रेरण मोटर का कार्य सिद्धान्त किसके समान होता है?
(a) तुल्यकालिक मोटर
(b) यूनिवर्सल मोटर
(c) त्रिकलीय ट्रांसफॉर्मर
(d) श्रागे मोटर
32. तीन 120° पर विस्थापित कुण्डलियों में तीन फेज सप्लाई देने पर उत्पन्न चुम्बकीय क्षेत्र होगा
(a) स्थिर
(b) प्रत्यावर्ती
(c) घूर्णीय
(d) स्पन्दित
33. यदि त्रिकलीय प्रेरण मोटर स्लिप (S) पर गति कर रही है, तो रोटर की कॉपर हानि तुल्य होगी
(a) (1-s) × रोटर इनपुट
(b) (1 + s) × रोटर इनपुट
(c) sx रोटर इनपुट
(d) उपर्युक्त में से कोई नहीं
34. रोटर शाफ्ट की धातु होती है
(a) ढलवाँ लोहा
(b) माइल्ड स्टील
(c) हाई-स्पीड स्टील
(d) सिलिकॉन स्टील लेमिनेशन
35. प्रेरण मोटर पर लगातार भार बढ़ाने पर मोटर का शक्ति गुणक
(a) लगातार बढ़ता जाता है और इकाई हो जाता है
(b) पूर्ण भार तक बढ़ता जाता है, उसके पश्चात् कम होने लगता है
(c) लगातार कम हो जाता है
(d) अपरिवर्तित रहता है
36. प्रेरण मोटर में प्रायः रोटर खांचों को तिरछा बनाया जाता है, इसका लाभ है
(a) ताम्र बचत
(b)लौह हानियों में कमी
(c) मोटर में शोर कम करना एवं मोटर के लॉक होने की प्रवृत्ति समाप्त करना
(d) भंवर धारा कम करना
37. प्रेरण मोटर किस सिद्धान्त पर कार्य करती है
(a) विद्युत चुम्बकीय प्रेरण
(b) स्वप्रेरण
(c) लेन्ज सिद्धान्त
(d)उपर्युक्त में से कोई नहीं
38. तुल्यकालिक गति एवं वास्तविक गति का अन्तर कहलाता है
(a) नियमन
(b) स्लिप गति
(c) बैकलैश
(d) इनमें से कोई नहीं
39. प्रेरण मोटर की कुण्डली हेतु स्टेटर किस धातु का बनाया जाता है?
(a) कार्बन
(b) स्टेनलैस स्टील
(c)सिलिकॉन स्टील लेमिनेशन
(d) ताम्र लेमिनेशन
उत्तर - 21b22b, 23a, 24c, 25c, 26c, 27c, 28b, 29c, 30d, 31c, 32c, 33c, 34b, 35b, 36c, 37a, 38b, 39c
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